शारीरिक संबंधों को लेकर हम कई मिथकों के बीच होकर गुजरते रहते हैं। लेकिन अगर हम इन मिथकों से दूर हो इसके बारे में सच्चाई को जाने तो जाहिर है कि हम इस रिश्ते को बनाते समय कई ज्यादा सुकून महसूस करेंगे। आईये जानते हैं शारीरिक संबंधों को लेकर लोगों में क्या बड़ा मिथक है और इसको लेकर सच क्या है।
पहला मिथक है कि पानी में बनाए जाने वाला संबंध यौन संचारित रोगों से बचाता है। लेकिन ऐसा नहीं है लोग इस बारे में केवल मिथक पाले हैं। पानी के भीतर शारीरिक संबंध बनाना संभव ही नहीं है। अगर बनाया भी जाये तो दोनों को संतुष्टि नहीं मिल पाती है।
दूसरी मिथक है कि अगर शारीरिक संबंध बनाने के बाद आप प्रेग्नेंसी से बचा चाहती हैं तो ऊपर से नीचे कूदें ऐसा नहीं अगर आपका ओवम डिस्चार्ज हो रहा है और स्पर्म आपके यौनांगों के जरिए ओवम से मिले हैं तो आप प्रेग्नेंट हो जायेंगी। इस तरह कूदने कसरत करने से कोई लाभ नहीं होता है।
तीसरा मिथक है कि औरते शारीरिक संबंधों के दौरान चरम अवस्था पर नहीं पहुंच पाती हैं। जबकि ऐसा नहीं हैं शारीरिक संबंधों के दौरान औरते संतुष्ट की अनुभूति अलग-अलग तरीकों से करती है। लेकिन इस दौरान लगभग हर औरत और पुरूष अपने चरम अवस्था तक पहुंच जाते हैं।
चौथा मिथक ये है कि ओरल सेक्स से यौन संचारित रोगों का खतरा नहीं होता है लेकिन ऐसा नहीं है अगर आपके यौनांग संक्रमित हैं तो ये खतरा आपको जरूर होता है। इसके साथ ही अगर आप स्वच्छता का ध्यान नहीं रखते हैं तो आपको कई तरह के रोगों का खतरा रहता है।
पांचवा मिथक है कि जिन पुरूषों के हाथ पैरे और डील-डोल बड़े होते हैं उनका लिंग का साइज भी बड़ा होता है ऐसा नहीं है कद काठी का असर इस बात पर नहीं होता है और इससे शारीरिक संबंध बनाने में कोई दिक्कत नहीं होती है।