नई दिल्ली। पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्त ओपी रावत ने कहा है कि नोटबंदी के बाद भी चुनावों में कालेधन का इस्तेमाल नहीं रुका है. रावत ने बताया कि पिछले चुनावों के मुकाबले इस बार अधिक कालाधन बरामद किया गया है. उन्होंने राजनीतिक दलों की तरफ से खर्च किए जा रहे धन के गलत इस्तेमाल पर चिंता जताई है.
हाल ही में अपने पद से मुक्त हुए ओपी रावत ने कहा, ‘ऐसा लगता है कि राजनीतिक दलों और उनके फाइनेंसरों को पैसे की कोई कमी नहीं है. इस तरीके से उपयोग किया जाने वाला पैसा आम तौर पर काला धन होता है. जहां तक चुनाव में काले धन के इस्तेमाल की बात है, इसकी कोई जांच नहीं हो पाई है. बता दें कि ओपी रावत के कार्यकाल के दौरान त्रिपुरा, मेघालय, नागालैंड, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव हुए हैं.
सुनील अरोड़ा नए चुनाव आयुक्त
चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने रविवार को 23वें मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) का पदभार संभाला और 2019 लोकसभा चुनाव कराने के लिए सभी संबंधित पक्षों से सहयोग मांगा. ओ.पी. रावत एक दिन पहले इस पद से रिटायर्ड हुए हैं. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 27 नवंबर को अरोड़ा को पद पर नियुक्त किया था.
इन राज्यों में कराएंगे चुनाव
सीईसी अरोड़ का कार्यकाल अप्रैल 2021 तक का होगा. इस दौरान उनकी निगरानी में 2019 में आम चुनाव और सिक्किम, आंध्र प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश, ओडिशा, महाराष्ट्र, हरियाणा, झारखंड, बिहार, दिल्ली और जम्मू एवं कश्मीर विधानसभा चुनाव होंगे. अरोड़ा भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के 1980 बैच के राजस्थान कैडर के रिटायर्ड अफसर हैं. बतौर चुनाव आयुक्त अरोड़ा की नियुक्ति एक सितंबर 2017 को हुई थी.