नई दिल्ली। पंजाब नेशनल बैंक घोटाले का आरोपी हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी देश से भागने के बाद पहली बार मीडिया के सामने आया है. अपने ऊपर लगे आरोपों को चोकसी ने बेबुनियाद बताया है और कहा कि ईडी ने अवैध तरीके से उसकी संपत्तियां जब्त की हैं. यही नहीं मेहुल ने सरेंडर कर भारत लौटने की खबरों से भी इनकार किया है.
न्यूज एजेंजी ANI के दिए बयान में मेहुल ने कहा कि उसपर लगे आरोप झूठे और निराधार हैं, साथ ही प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अवैध रूप से उसकी संपत्तियों को अटैच कर उसे फंसाया है. एंटिगुआ में मौजूद चोकसी को वापस लाने के लिए भारत सरकार ने एंटिगुआ से आग्रह भी किया है ताकि उसे गिरफ्तार कर भारत को सौंपा जा सके.
#WATCH Antigua: PNB Scam accused Mehul Choksi says, "all the allegations leveled by ED are false and baseless." pic.twitter.com/hkanruj9wl
— ANI (@ANI) September 11, 2018
वीडियो में मेहुल ने कहा कि बेवजह मेरा पासपोर्ट रद्द कर दिया गया है और कोई कारण भी नहीं बताया गया. उसने कहा कि मेरा पासपोर्ट सस्पेंड है, ऐसे में सरेंडर करने का कोई सवाल ही पैदा नहीं होता.
#WATCH PNB Scam accused Mehul Choksi on his passport revocation. Please note: ANI questions were asked by Mehul Choksi's lawyer in Antigua. pic.twitter.com/dwuPnOPaxd
— ANI (@ANI) September 11, 2018
बता दें कि करीब 13 हजार करोड़ के पीएनबी घोटाले में नीरव मोदी और उसके मामा मेहुल चोकसी मुख्य आरोपी हैं. नीरव मोदी और मेहुल दोनों फरार हैं. नीरव के खिलाफ इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी कर दिया है, जबकि मेहुल के खिलाफ नोटिस जारी करने की प्रक्रिया चल रही है.
मेहुल चोकसी को कई बार भारतीय एजेंसियों के द्वारा समन जारी किया जा चुका है. हालांकि, हर बार उसने भारत आने में असमर्थता जाहिर की है. चोकसी ने कहा है कि अगर वह भारत आता है, तो उसके साथ लिंचिंग हो सकती है. मेहुल पर 1210 करोड़ रुपये की कुल 41 संपत्तियां मनी लॉंड्रिंग रोधक कानून (पीएमएलए) के तहत आती हैं, लिहाजा प्रवर्तन निदेशालय को इनकी कुर्की करना चाहता है.
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) की मुंबई शाखा में दो अरब डॉलर की कथित धोखाधड़ी में केंद्रीय जांच एजेंसी ने इस साल फरवरी में अस्थायी तौर पर मुंबई में 15 फ्लैट और 17 कार्यालय परिसर, कोलकाता में एक मॉल, अलीबाग में चार एकड़ का फार्म हाउस और महाराष्ट्र के नासिक, नागपुर और पनवेल तथा तमिलनाडु के विल्लुपुरम में 231 एकड़ भूमि कुर्क की थी.
मनी लॉड्रिंग केस में कार्रवाई
पीएमएलए के न्यायिक प्राधिकरण के सदस्य (विधि) तुषार वी शाह की ओर से हाल में जारी आदेश में कहा गया है कि ईडी की मूल शिकायत में जो दस्तावेज उपलब्ध कराए गए हैं, उसके हिसाब से उनका मानना है कि इस मामले में जो संपत्तियां अस्थायी रूप से कुर्क की गई हैं वे धन शोधन या मनी लॉंड्रिंग से जुड़ी हैं.
प्राधिकरण ने इन संपत्तियों की कुर्की की पुष्टि करते हुए कहा कि जांच की अवधि में, जो 90 दिन से अधिक नहीं हो सकती, या पीएमएलए के तहत किसी अदालत में प्रक्रिया लंबित रहने तक यह कुर्की जारी रहेगी. विशेष अदालत द्वारा संपत्ति कुर्की का आदेश जारी करने के बाद यह आदेश अंतिम हो जाएगा.
वहीं आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि ईडी अब इन संपत्तियों को जब्त कर इन स्थानों पर अपने कब्जे का बोर्ड लगाएगा. ईडी ने मनी लॉंड्रिंग रोधक कानून के तहत चोकसी, उसकी कंपनी गीतांजलि जेम्स और उसकी सहयोगी कंपनियों के खिलाफ आपराधिक जांच के मामले में इन संपत्तियों की अस्थायी कुर्की का आदेश जारी किया था। कुर्क संपत्तियों में हैदराबाद के रंगा रेड्डी जिले में स्थित 170 एकड़ का पार्क, महाराष्ट्र की राजधानी के बोरिवली (पूर्व) में चार फ्लैट तथा सांताक्रूज (पूर्व) में नौ अन्य फ्लैट शामिल हैं.