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Tokyo Olympics: पीवी सिंधु से जगी पदक की आस, लगातार दूसरा मैच जीतकर पहुंचीं नॉकआउट में

भारतीय शटलर पीवी सिंधु ने टोक्यो ओलंपिक में शानदार प्रदर्शन करते हुए नॉकआउट चरण में जगह बना ली है. ग्रुप-जे के अपने दूसरे मुकाबले में सिंधु ने हॉन्गकॉन्ग की च्युंग एनगान यी को आसानी से 21-9, 21-16 से हराया. महिला सिंगल्स में भारत की एकमात्र चुनौती सिंधु ने 36 मिनट में यह मुकाबला अपने नाम किया.

सिंधु अब प्री-क्वार्टर फाइनल में ग्रुप-आई में शीर्ष पर रहने वाली डेनमार्क की दुनिया की 12वें नंबर की खिलाड़ी मिया ब्लिचफेल्ट से भिड़ेंगी. सिंधु का ब्लिचफेल्ट के खिलाफ जीत-हार का रिकॉर्ड 4-1 है. डेनमार्क की खिलाड़ी ने सिंधु के खिलाफ एकमात्र जीत इस साल थाईलैंड ओपन में दर्ज की थी.

वर्ल्ड नंबर-7 सिंधु ने च्युंग एनगान यी के खिलाफ अपना रिकॉर्ड 6-0 कर लिया है. इससे पहले एनगान यी के खिलाफ पांच मुकाबलों में भी सिंधु ने जीत हासिल की थी. पहले गेम में पीवी सिंधु अपनी प्रतिद्वंद्वी पर पूरी तरह हावी रहीं. जिसका नतीजा ये हुआ कि सिंधु ने पहला गेम महज 15 मिनट में जीत लिया.

दूसरे गेम के शुरुआत में सिंधु ने चार प्वाइंट्स की बढ़त बना ली. लेकिन एनगान यी ने शानदार वापसी की और वह 11-10 से आगे हो गईं. सिंधु ने गेम अंतराल के बाद बेजोड़ वापसी करते हुए 13-12 की बढ़त बना ली. सिंधु इसके बाद पूरे फॉर्म में दिखाई दीं और लगातार पांच अंक हासिल कर स्कोर 19-14 कर दिया. अंततः सिंधु ने 21 मिनट में दूसरा गेम जीतकर मैच अपने नाम कर लिया.

सिंधु से टोक्यो ओलंपिक में भी पदक की उम्मीद की जा रही है. रियो ओलंपिक की सिल्वर मेडलिस्ट सिंधु ने खिताबी अभियान का शानदार आगाज किया था. रविवार को अपने पहले मुकाबले में सिंधु ने इजरायल की सेनिया पोलिकारपोवा को आसानी से 21-7, 21-10 से हराया था.

वर्ल्ड नंबर-7 सिंधु ने टोक्यो ओलंपिक के लिए आसानी से क्वालिफाई कर लिया, क्योंकि वह बीडब्ल्यूएफ रैंकिंग में शीर्ष दस खिलाड़ियों में शामिल थीं. अपना दूसरा ओलंपिक खेल रहीं सिंधु को महिला एकल में छठी वरीयता मिली है और उन्हें ग्रुप ‘जे’ में रखा गया था.

बी साई प्रणीत ग्रुप डी के अपने दूसरे और अंतिम पुरुष एकल मैच में आज नीदरलैंड के एम कालजोव से भिड़ेंगे. मंगलवार को चिराग शेट्टी और सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी की पुरुष युगल जोड़ी ग्रुप ए में बेन लेन और सीन वैंडी की इंग्लैंड की जोड़ी को हराकर तीन में से दो मुकाबले जीतने के बावजूद क्वार्टर फाइनल में जगह बनाने में नाकाम रही थी.

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